मध्यप्रदेश में बहुउपयोगी राज्य आपदा नियंत्रण एवं निगरानी व्यवस्था शुरू राज्य मंत्रालय वल्लभ भवन में स्टेट सिचुएशन रूम बना
मौके से व्हाट्सएप विडियो कॉल,ड्रोन,फेसबुक लाइव के माध्यम से विडियो प्रसारित किये जाने की सुविधा भी
( State Disaster Command & Control System )
मध्यप्रदेश में बहुउपयोगी राज्य आपदा नियंत्रण एवं निगरानी व्यवस्था शुरू, स्टेट सिचुएशन रूम बना, मौके से व्हाट्सएप विडियो कॉल,ड्रोन,फेसबुक लाइव के माध्यम से विडियो प्रसारित करने की सुविधा भी. @ChouhanShivraj @MAP_IT_DST @DrSudamKhade3 @mohdept @JansamparkMhttps://t.co/Ca7aW4YmC4
— MPPOST (@mppost1) July 10, 2021
एमपीपोस्ट, 10 जुलाई , 2021,भोपाल । मध्यप्रदेश शासन द्वारा राज्य में विभिन्न आपदाओं की निगरानी एवं नियंत्रण के लिए बहुउपयोगी एक स्टेट डिजास्टर कमांड एवं कंट्रोल सिस्टम की स्थापना की है। यह व्यवस्था राज्य में विभिन्न प्रकार की आपदा,संकट अथवा आपातकालीन समय की स्थिति से निपटने के लिए लाइव निगरानी, नियंत्रण, जानकारी प्राप्त करना एवं जानकारी अनुसार सही निर्णय लेने में सहयोग प्रदान करेगा । इस सिस्टम के अंतर्गत राज्य एवं जिला स्तर पर डिजास्टर कमांड एवं कंट्रोल सिस्टम स्थापित किए गए है। हिंदी भाषी राज्यों में यह नवाचार सबसे पहले मध्यप्रदेश सरकार ने किया है।
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान का कहना है कि अत्याधुनिक तकनीकी का उपयोग करते हुए मध्यप्रदेश ने आपदा नियंत्रण के बेहतर इंतजाम किए हैं। बाढ़, भूकंप, आग, दुर्घटना आदि सभी प्रकार की आपदाओं की हर परिस्थिति से निपटने के लिए टीम मध्यप्रदेश तैयार है।
राज्य स्तर पर SDERF एसडीईआरएफ अंतर्गत होमगार्ड द्वारा भोपाल में संचालित स्टेट डिजास्टर कमांड एंड कंट्रोल सेंटर स्थापित किया गया है ।
राज्य मंत्रालय वल्लभ भवन एनेक्सी-2 में स्थापित स्टेट सिचुएशन रूम स्थापित किया गया है ।
जबकि जिला स्तर पर प्रत्येक जिले में डिस्ट्रिक्ट कमांड एंड कंट्रोल कॉल सेंटर ( DCCC ) स्थापित किये जा रहे हैं । पायलट व्यवस्था के तहत सीहोर, रायसेन एवं होशंगाबाद जिला में जिला स्तरीय कॉल सेंटर प्रारंभ किये जा चुके हैं, शेष जिलों में 1 अगस्त तक कार्य प्रारंभ हो जाएगा, ऐसी जानकारी एमपी पोस्ट को मिली है I
इसमें प्रारंभिक चेतावनी प्रणाली (अर्ली वार्निंग सिस्टम) भी विकसित किया गया है, जो बांधों नदी के जल स्तर, जल संसाधन विभाग, मौसम विज्ञान विभाग एवं अन्य केंद्रीय और राज्य की विभिन्न एजेंसियों द्वारा वर्षा एवं बाढ़सं बंधी इनपुट प्राप्त करेगी एवंसंबंधित अधिकारीयों और लोगों को सूचना एवं चेतावनी प्रेषित करेगी।
राज्य सिचुएशन रूम, ववल्लभ भवन एनेक्सी-2 भोपाल में प्रारंभिक स्तर पर 16 डिजिटल फीड प्राप्त किया जा रहा है, जिसमें विभिन्न महत्वपूर्ण स्थानों की जैसे धार्मिक स्थल उज्जैन एवं ओंकारेश्वर, 7 स्मार्ट सिटी के ICCC, सभी बिजली वितरण कंपनियां, 62 शहरों से ट्रैफिक ( ITMS) एवं सीसीटीवी इनपुट, राज्य की जेलें एवं डायल 100, 108 वाहनों की लाइव लोकेशन ट्रैकिंग आदि का लाइव फीड प्रसारित किया जा रहा है।
सिचुएशन रूम अन्य आपातकालीन सेवाओं जैसे – डायल 108, डायल 100 और सीएम हेल्पलाइन के साथ पूर्ण रूप से इंटीग्रेट किया गया है। वांक्षित स्थानों से ड्रोन फ़ीड के माध्यम से लाइव विडियो प्रसारण की सुविधा भी बल्लभ भवन सिचुएशन रूम में उपलब्ध कराई गयी है। इसमें जिलों और विभागों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग की सुविधा भी है।
राज्य स्तरीय सिचुएशन रूम और राज्य स्तरीय कन्ट्रोल कमाण्ड सेंटर में 1000 एमबीपीएस लीज्ड लाइन के माध्यम से विभिन्न प्रकार के डाटाबेस जैसे – समस्त बांधों का अद्यतन जल-स्तर, बांधों के गेट खोलने की अद्यतन स्थिति, नदी गेज के माध्यम से नदियों का अद्यतन जल-स्तर, मौसम विभाग का अपडेटेड डाटाबेस, डायल-100 तथा डायल-108 के एम्बुलेंस एवं वाहनों का रियल टाइम डाटाबेस, ट्रेफिक के 10 हजार सी.सी.टी.वी. कैमरों की लाइव फीड, स्मार्ट सिटी के 500 कैमरों की लाइव फीड आदि प्राप्त होंगे। अभी तक 16 विभागों के लाइव फीड का उपयोग आपदा प्रबंधन में किए जाने की व्यवस्था है ।
विभिन्न धर्म-स्थलों एवं मेला-स्थलों की लाइव फीड भी सिचुएशन रूम तथा राज्य-स्तरीय कन्ट्रोल कमाण्ड सेंटर को उपलब्ध होगी। इनमें आपदा की स्थिति निर्मित होने पर बेहतर प्रबंधन राज्य स्तर से सुनिश्चित हो सकेगा।
इस नेटवर्क के विकसित हो जाने से मध्यप्रदेश अब आपदा के दौरान न केवल त्वरित बचाव और राहत कार्य संपादित होंगे बल्कि बचाव और राहत कार्यों ( रेस्क्यू ऑपरेशन ) की लाइव मॉनीटरिंग भी की जा सकेगी।
शासन की विभिन्न गतिविधियों में उपयोग-सिचुएशन रूम तथा कमाण्ड एवं कंट्रोल सिस्टम का शासन की विभिन्न गतिविधियों – आपदा एवं आपातकालीन स्थिति में जिला स्तरीय कॉल सेंटर के रूप में, सी.एम. हेल्पलाइन की मॉनीटरिंग के लिए, लोक सेवा प्रदाय व्यवस्था में सुधार के लिए फीडबैक, सरकार द्वारा समय-समय पर चलाये जाने वाले अभियान, सर्वेक्षण, खरीदी, टीकाकरण, अन्य गतिविधियाँ, लोक सेवा प्रदाय व्यवस्था में सुधार के लिए फीडबेक तथा जिला प्रशासन की आवश्यकता अनुसार उपयोग भी किया जा सकेगा।
राज्य के मुख्यमंत्री एवं उच्च स्तरीय अधिकारी गण किसी भी आपदा की स्थिति में एक स्थान पर बैठे-बैठे पूरे घटनाक्रम को स्थानीय स्थिति की वास्तविक स्थिति की लाइव विडियो एवं इमेज फीड देख सकते हैं एवं सिचुएशन रूम से ही निर्देश जारी कर सकते हैं। इसी तरह, जिला स्तर पर DCCC, आपदा एवं आपातकालीन स्थिति में जिला स्तरीय कॉल सेंटर के रूप में उपयोग किया जायेगा जहाँ फील्ड स्तर से व्हाट्सएप विडियो कॉल,ड्रोन,फेसबुक लाइव के माध्यम से विडियो प्रसारित किये जाने की सुविधा भी उपलब्ध होगी| यह शासन के लिए नर्व सेंटर के रूप में कार्य करेगा, जिससे कलेक्टर और अन्य पदाधिकारियों को जानकारी प्राप्त करने एवं स्थिति को नियंत्रित करने में मदद मिलेगी।
सामान्य समय के दौरान, DCCC सूचना प्रदान करने, शिकायतों को दर्ज करने एवं नागरिकों की प्रतिक्रिया प्राप्त करने के लिए सीएम हेल्पलाइन के विस्तार के रूप में बहुत उपयोगी होगा।
DCCC तीन जिलों होशंगाबाद, सीहोर और रायसेन में पायलट परियोजनाओं के रूप में प्रारंभ किया जा चुका है । ग्राउंड ऑपरेशन 52 EOC, 272 DRC और 93 QRT द्वारा निष्पादित किए जाएंगे, जिसमें होम गार्ड एवं SDERF द्वारा समन्वित लगभग 5500 कर्मचारी शामिल होंगे। नागरिकों को आने वाली आपदाओं के बारे में SMS अलर्ट की सुविधा भी है।