इंटेक के संयोजकों का एक दिवसीय सम्मेलन आयोजित
एमपीपोस्ट, 02 ,दिसम्बर 2021,भोपाल। प्रमुख सचिव संस्कृति एवं पर्यटन एवं जनसम्पर्क विभाग मध्यप्रदेश शासन श्री शिव शेखर शुक्ला ने कहा कि मध्यप्रदेश विरासत की दृष्टि से समृद्ध प्रदेश है। फिर चाहे वह प्राकृतिक विरासत हो या फिर सांस्कृतिक और पुरातात्विक विरासत। सभी विरासतों का संरक्षण और संवर्धन शासन का प्रमुख कार्य है। प्रमुख सचिव श्री शुक्ला होटल पलाश में भारतीय संस्कृति निधि (इंटेक) के संयोजकों के एक दिवसीय सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। श्री शुक्ला ने कहा कि पर्यटन और संस्कृति विभाग से इंटीग्रेट करके प्रदेश की पुरातात्विक और सांस्कृतिक विरासतों को संरक्षित कर उन्हें पर्यटन की दृष्टि से विकसित किया जा रहा है। इसके साथ ही प्रदेश की धरोहरों को यूनेस्को की विश्व धरोहर सूची में स्थान दिलाने के लिए विशेष प्रयास किये जा रहे है। सतपुरा टाइगर रिजर्व, भेड़ाघाट, मांडू और ओरछा जो संभावित सूची में शामिल है उनका भी डोजियर तैयार कर नियमित सूची में लाने में प्रयास किया जा रहा है।
प्रमुख सचिव श्री शुक्ला ने कहा कि हेरिटेज संरक्षण को जन-आंदोलन बनाए जाने की आवश्यकता है। इसी दिशा में कार्य करते हुए भारत सरकार की ‘अडॉप्ट द हेरिटेज’ की तर्ज पर राज्य सरकार भी आमजन को प्रदेश की विरासतों को गोद लेने और संरक्षित करने के लिए प्रोत्साहित करेगी। इसके साथ ही यूनेस्को की हिस्टोरिक अर्बन लैंडस्केप योजना में ओरछा और ग्वालियर को शामिल किया गया है। इन नगरों में हेरिटेज के संरक्षण और सौदर्यीकरण को केंद्र में रखकर शहर के विकास की योजना पर कार्य किया जा रहा है। जिला स्तर पर भी विकेंद्रीकरण कर डिस्ट्रिक्ट आर्कियोलॉजी, टूरिज्म एंड कल्चर कॉउन्सिल (DATCC) के माध्यम से जिले की पुरातात्विक धरोहर को संरक्षित कर उन्हें टूरिज्म फ्रेंडली बनाने की दिशा में कार्य किया जा रहा है। पर्यटन, संस्कृति और पुरातत्व विभाग प्रदेश के हेरिटेज डेस्टिनेशन को दुनिया के मैप पर लाने के उद्देश्य से कार्य कर रहा है। इस दिशा में इंटेक संस्था के टेक्निकल एक्सपर्टाइज, साइंटिफिक मेथड, कंजर्वेशन आर्किटेक्ट आदि की सेवाएँ उपयोगी रहेंगी।
इंटेक के राष्ट्रीय अध्यक्ष मेजर जनरल श्री ललित गुप्ता ने बताया कि मध्यप्रदेश में कई क्षेत्रों में संपदाओं के अभिलेखीकरण का कार्य पूरा किया जा चुका है। बांधवगढ़ राष्ट्रीय उद्यान में विष्णु प्रतिमा के संरक्षण का कार्य भी इंटेक द्वारा किया जा रहा है। इससे विष्णु प्रतिमा की स्थिति अधिक बेहतर हो जाएगी। इंटेक हेरिटेज एकेडमी के विभिन्न कोर्स के माध्यम से पुरातत्व और पर्यटन विभाग के अमले की क्षमता वृद्धि की जा सकती है। इंटेक इस कार्य के लिए पूरा सहयोग देगा। राज्य में कई जिलों का अभिलेखीकरण का कार्य पूरा हो चुका है और अन्य जगह यह प्रगति पर है।
इंटेक के राज्य संयोजक श्री मदन मोहन उपाध्याय (सेवानिवृत आईएएस) ने प्रदेश के विभिन्न जिलो में इंटेक द्वारा किये जा रहे कार्यक्रमों की जानकारी देकर भविष्य की योजनाओं पर प्रकाश डाला। सम्मेलन में इंटेक के संयोजक और आर्किटेक्ट सहित अन्य लोग उपस्थित थे।