बजट में आदिवासी उपयोजना की व्यवस्था को केन्द्र सरकार जारी रखे, आग्रह न मानने पर राज्य सरकार उपयोजना प्रावधान को जारी रखेगी- मुख्यमंत्री श्री कमल नाथ
बजट में आदिवासी उपयोजना की व्यवस्था को केन्द्र सरकार जारी रखे
आग्रह न मानने पर राज्य सरकार उपयोजना प्रावधान को जारी रखेगी- मुख्यमंत्री श्री कमल नाथ
भोपाल : 17 जनवरी, 2020
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री श्री कमल नाथ ने केन्द्र सरकार से बजट में आदिवासी उपयोजना की पूर्व व्यवस्था को जारी रखने का अनुरोध किया है। श्री नाथ ने कहा कि अगर केन्द्र सरकार ने यह व्यवस्था नहीं की तो राज्य सरकार बजट में आदिवासी उपयोजना का प्रावधान करेगी। श्री नाथ ने शुक्रवार 17 जनवरी, 2020 को यह बात विधानसभा के दो दिवसीय विशेष सत्र के दूसरे दिन अनुसूचित जाति एवं जनजाति वर्ग के लिए लोकसभा और विधानसभा में अगले 10 वर्ष तक आरक्षण सुविधा बरकरार रखने के लिए संसद द्वारा पारित संविधान के 126वें संशोधन अधिनियम 2019 के अनु समर्थन में विधानसभा में रखे गए प्रस्ताव का समर्थन करते हुए कही।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जनसंख्या के आधार पर आदिवासी क्षेत्रों के विकास के लिए बजट में उपयोजना का प्रावधान आज भी जरूरी है। इस प्रावधान के समाप्त होने से आदिवासी वर्ग के उन्नति के प्रयास प्रभावित होंगे। उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार को अपने निर्णय पर पुनर्विचार करना चाहिए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि बहुत कम ऐसे अवसर आते हैं जब संसद या विधानसभाओं में किसी मुद्दे पर सर्वसम्मति की स्थिति बनती है। श्री नाथ ने कहा कि हमारे संविधान निर्माताओं ने अनुसूचित जाति एवं जनजाति वर्ग के सर्वांगीण विकास और समाज में उन्हें बराबरी पर लाने के लिए जो आरक्षण व्यवस्था की थी उसकी आज भी आवश्यकता है। यही कारण है कि संसद में आरक्षण व्यवस्था को अगले 10 वर्ष तक निरंतर जारी रखने के लिए संविधान के 126वें संशोधन विधेयक 2019 को सर्वसम्मति से पारित किया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि मध्यप्रदेश विधानसभा संसद के द्वारा पारित इस विधेयक का सर्वसम्मति से अनुसमर्थन करे।