भोपाल, 31 अक्टूबर 2020
मध्य प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता एवं चुनाव आयोग कार्य प्रभारी वरिष्ठ एडवोकेट जे.पी.धनोपिया ने आज 31 अक्टूबर 2020 को भोपाल में
प्रदेश के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी और भारत निर्वाचन आयोग को सौंपी शिकायत कहा है कि प्रदेश में 28 विधानसभा क्षेत्रों में उप चुनाव चल रहे है और आदर्श आचार संहिता प्रभावशील है, चुनाव प्रचार चरम पर है, 3 नवम्बर, को मतदान होना है।
मध्य प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता एवं चुनाव आयोग कार्य प्रभारी वरिष्ठ एडवोकेट जे.पी.धनोपिया ने कहा कि प्रदेश में भारतीय जनता पार्टी की और से चुनाव प्रचार कर रहे नेतागण मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चैहान, गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा, मंत्री श्रीमती इमरती देवी, कमल पटेल, बिसाहूलाल सिंह, गिर्राज दण्डोतिया, प्रदेश भाजपा अध्यक्ष, वी.डी.शर्मा, भाजपा राष्ट्रीय महासचिव, कैलाश विजयवर्गीय एवं सांसद शंकर लालवानी द्वारा पूर्व मुख्यमंत्री, नेता प्रतिपक्ष कमलनाथ जी के प्रति लगातार अशोभनीय, अससंदीय भाषा का इस्तेमाल करते हुए उन्हें अपमानित करने वाले शब्दों का उपयोग किया जा रहा है, जो कि प्रभावशील आदर्श आचार संहिता का खुला उल्लंघन है।
लेकिन खेद है कि माननीय मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी मध्यप्रदेश द्वारा आचार संहिता के उल्लंघन के संबंध में स्वतः संज्ञान लेकर कार्यवाही की जाना चाहिए थी, किंतु आज तक कोई कार्यवाही नहीं गई, जिससे भाजपा नेताओं के बिगड़े बोल लगातार जारी है। भाजपा नेताओं द्वारा आचार संहिता के दौरान दिए गए वक्तव्य निम्नानुसार है। जिस पर कार्यवाही होना चाहिए।
मध्य प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता एवं चुनाव आयोग कार्य प्रभारी वरिष्ठ एडवोकेट जे.पी.धनोपिया ने बताया की
1. 6 अक्टूबर, 2020- प्रदेश के कृषि मंत्री कमल पटेल द्वारा उज्जैन में सार्वजनिक रूप से श्री कमलनाथ जी को अपमानित करते हुए कहा कि वे छिंदवाडा के कुंए के मैढ़क है तथा किसानों के रूपयों पर नाग की तरह बैठे हुए है ।
2. 7 अक्टूबर, 2020- प्रदेश के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा द्वारा नेताप्रतिपक्ष कमलनाथ को चेतुआ कहा है जिसका अर्थ उनकी बेज्जती करने से है ।
3. 13 अक्टूबर, 2020 प्रदेश के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने श्री कमलनाथ को बुढ्ढा कहकर अपमानित किया है ।
4. 22 अक्टूबर, 2020 को भाजपा सांसद शंकर लालवानी ने इंदौर में पत्रकार वार्ता आयोजित कर श्री कमलनाथ जी के प्रति अशोभनीय टिप्पणी करते हुए कहा कि वे कमलनाथ नहीं कमरनाथ है ।
5. 22 अक्टूबर 2020 को प्रदेश के गैर विधायक कृषि राज्य मंत्री गिर्राज दण्डोतिया ने दिमनी में कहा कि आईटम शब्द यदि कमलनाथ दिमनी में बोलते तो उनकी गर्दन काट दी जाती तथा उनकी लाश यहां से जाती, 23 अक्टूबर, 2020- प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चैहान ने कहा ‘कमलनाथ तो रावण जैसे मायावी है बचकर रहना‘ रावण से तुलना कर अपामनित किया है।
6. 23 अक्टूबर, 2020- प्रदेश भाजपा अध्यक्ष, सांसद,वीडी शर्मा द्वारा राजगढ़ में अपने उद्बोधन में कहा कि दिग्विजय सिंह भ्रमजाल और कपटवाला बदमाश है।
7. 24 अक्टूबर, 2020 प्रदेश की प्रदेश महिला बाल विकास मंत्री श्रीमती इमरती देवी ने कहा कि कमलनाथ लुच्चा, लफंगा शराबी, कबाडी है, वह बंगाल का आदमी है, वह पागल हो गया है, उसकी माॅ, बहने बंगाल का आईटम है, इस प्रकार उन्होंने श्री कमलनाथ जी के परिवार की माता-बहनों को भी अपशब्द कहे है।
8. 28 अक्टूबर, 2020- प्रदेश के खाद मंत्री बिसाहूलाल सिंह ने अनूपपुर ने कहा कि कमलनाथ कहता था कि दूध का दाम 25 रूपये बढायेगा, पहले दूध पीना तो शुरू करो, कह रहा है, गौशालाएं बनाई है,गौशालाएं तो मुख्यमंत्री बनाए है, वह तो चुतिया बना रहा है तथा अनूपपुर से कांग्रेस प्रत्याशी की पत्नी के प्रति अपशब्दों का प्रयोग करते हुए उन्हें रखेल कहकर गाली दी जिसकी शिकायत पूर्व में की जा चुकी है ।
9. 28 अक्टूबर, 2020 को प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चैहान ने बडा मलहरा में कहा कि कमलनाथ अब बताओ हम नारयल फोडे या नहीं अब हम तुम्हारी तरह शेम्पियन की बोटल लेकर तो नहीं घुम सकते । तथा इसी प्रकार उन्होंने कहा कि कमलनाथ पाॅपी व्यक्ति है जैसे शब्द बोलकर उन्हें अपमानित किया है ।
10. 29 अक्टूबर, 2020 भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय महामंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने नेपानगर में कहा कि कांग्रेसी फटीचर है अब बोलोरो में घुम रहे हैं।
11. 30 अक्टूबर- 2020 को भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय महामंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने इंदौर में कहा कि कमलनाथ मानसिक रूप से दरिद्र है ।
धनोपिया ने कहा कि इन वक्तव्यों के अतिरिक्त ऐसे कई वक्तव्य हैं जिनसे साफ है कि भाजापा नेताओं द्वारा सरेआम खुलकर आचार संहिता का उल्लंघन किया गया है तथा कांग्रेस नेताओं कमलनाथ जी एवं दिग्विजय सिंह जी के प्रति लगातार अनर्गल, अससंदीय भाषा का उपयोग कर उन्हें सार्वजनिक रूप से बेइज्जत करने का कार्य आज भी बदस्तूर जारी है।
धनोपिया ने निर्वाचन आयोग से मांग की है कि उपरोक्त शब्दावली आचार संहिता का खुला उल्लंघन होने के परिप्रेक्ष्य में सभी संबंधित भाजपा नेताओं के विरूद्ध तत्काल आचार संहिता के उल्लंघन का प्रकरण दर्ज कर कार्यवाही की जावे एवं उन्हें तत्काल प्रदेश में हो रहे 28 विधान सभा क्षेत्रों के उप चुनावों के प्रचार से प्रतिबंधित किया जावे जो लोकतंत्र के लिए न्यायोचित होगा।