देशप्रमुख समाचारराज्‍य

एमपी में एससी-एसटी वर्गों के आर्थिक विकास के लिये सरकार प्रतिबद्ध, बजट की कोई कमी नहीं

मध्यप्रदेश के वित्त एवं वाणिज्यिक कर मंत्री श्री जगदीश देवड़ा ने कहा

 

मध्यप्रदेश के वित्त एवं वाणिज्यिक कर मंत्री श्री जगदीश देवड़ा ने कहा है कि अनुसूचित जाति-जनजाति वर्गों के लिए विभिन्न विभाग द्वारा संचालित योजनाओं का एक जगह संग्रह होना चाहिए। इससे उनको मिलने वाले लाभ का विश्लेषण करने में सभी विभाग को आसानी होगी। श्री देवड़ा ने कहा कि राज्य सरकार इन वर्गों के आर्थिक विकास के लिये प्रतिबद्ध है और इसके लिये बजट की कोई कमी नहीं है। श्री देवड़ा मंत्रालय में अनुसूचित जाति एवं जनजाति वर्ग के युवाओं के लिए स्व-रोजगार एवं उद्यमिता के क्षेत्र में नवीन अवसर नियमित करने के लिए गठित मंत्रीमंडल समूह की बैठक को संबोधित कर रहे थे।

बैठक में विभिन्न निवेश नीति और योजनाओं में इन वर्गों के लिये वित्तीय एवं गैर वित्तीय सुविधाएं उपलब्ध कराने और इन वर्गों के व्यवसायियों को शासकीय उपार्जन में प्राथमिकता एवं विभिन्न प्रकार की छूट प्रदान करने पर भी विचार किया गया। साथ ही इन वर्गों के परंपरागत शिल्प, उत्पाद पाक कला, कृषि, वनों पर आधारित उपचार पद्धतियों और विभिन्न कलाओं को सुरक्षित रखने पर भी चर्चा हुई। स्व-रोजगार एवं उद्यमिता से जुड़े नगरीय विकास एवं आवास, किसान-कल्याण एवं कृषि विकास, वन, आयुष, सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम विभाग, कुटीर एवं ग्रामोद्योग, अनुसूचित जाति -अनुसूचित जनजाति, पंचायत एवं ग्रामीण विकास, उद्यानिकी एवं खाद्य प्र-संस्करण जैसे विभागों के बीच समन्वय होना चाहिए जिससे इन विभागों से जुड़ी योजनाओं का लाभ भी इन वर्गों को मिल सके।

बताया गया कि दलित इंडियन चेंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री – डिक्की से जुड़े उद्यमियों के लिए मालीखेड़ी गाँव जिला इंदौर में भूमि उपलब्ध कराने की कार्रवाई की जाएगी। सभी विभागों के प्रतिनिधियों ने इस पर सहमति व्यक्त की कि एसटी-एससी प्लान का पैसा इन्हीं वर्गों की अन्य योजनाओं के लिए उपयोग में लाना चाहिए।

डिक्की के स्टेट प्रेसीडेंट डॉक्टर अनिल सिरवैया ने एसटी-एससी युवाओं के स्व-रोजगार और उद्यमिता के लिए सुझाव देते हुए कहा कि अनुसूचित जाति वित्त एवं विकास निगम तथा आदिवासी वित्त एवं विकास निगम जैसी महत्वपूर्ण संस्थाओं को पूरी तरह से प्रोफेशनल बनाने की आवश्यकता है। अन्य प्रदेशों में इन वर्गों के लिए संचालित अच्छी योजनाओं का अध्ययन कर मध्यप्रदेश में लागू किया जाना चाहिए। सभी प्रकार के सूक्ष्म और मध्यम स्तरीय काम-धंधे की इन्वेंटरी बनाना चाहिए। यह सभी विभागों और संभावित हितग्राहियों के लिए लाभकारी होगी।

स्वास्थ्य मंत्री डॉ. प्रभुराम चौधरी, सूक्ष्म लघु एवं मध्यम उद्योग मंत्री श्री ओमप्रकाश सखलेचा, औद्योगिक नीति एवं निवेश प्रोत्साहन मंत्री श्री राजवर्धन सिंह दत्तीगांव, श्रम कल्याण मंडल के अध्यक्ष श्री भगवानदास गोंडाने, प्रमुख सचिव औद्योगिक नीति एवं निवेश प्रोत्साहन श्री संजय कुमार शुक्ला एवं संबंधित विभागों के अधिकारी उपस्थित थे।

 

Show More

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button