जो सबसे पीछे और नीचे हैं उनका उत्थान हमारी प्राथमिकता
नए उद्यमियों को अवसर देने उद्योग नीति में होंगे व्यवहारिक बदलाव
डिक्की की नेशनल काउंसिल मीट को मुख्यमंत्री श्री चौहान ने किया संबोधित
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि आत्म-निर्भर मध्यप्रदेश के लिए राज्य सरकार प्रदेश में उद्योगों का जाल बिछाने के लिए प्रतिबद्ध है। हमारा प्रयास है कि उद्यमशीलता की इस गतिविधि में समाज के हर वर्ग की बराबर की भागीदारी हो। संविधान निर्माता बाबा साहब डॉ. भीमराव अंबेडकर ने देश को संविधान देकर शिक्षित बनो, संगठित बनो और संघर्ष करो का मंत्र दिया। राज्य सरकार जो सबसे पीछे और नीचे हैं उनका संवैधानिक अधिकार, सुरक्षा और उन्हें प्रगति के सभी अवसर उपलब्ध कराने के लिए कृत-संकल्पित है।
मुख्यमंत्री श्री चौहान दलित इंडियन चेम्बर ऑफ कामर्स एण्ड इंडस्ट्रीज (डिक्की) की नेशनल काउंसिल मीट को संबोधित कर रहे थे। होटल पलाश में आयोजित मीट में सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्री श्री ओमप्रकाश सकलेचा, खाद्य, गरिक आपूर्ति मंत्री श्री बिसाहूलाल सिंह, डिक्की के संस्थापक पद्मश्री डॉ. मिलिंद काम्बले, राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री रवि कुमार नारा, ट्रायफेड के प्रबंध संचालक श्री प्रवीर कृष्ण,डिक्की के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. अनिल सिरवैया उपस्थित थे। कार्यक्रम में केन्द्र तथा राज्य की योजनाओं के बारे में जानकारी दी गई।
उद्योग नीतियों में आवश्यक सुधार किया जा सकता है
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि प्रदेश में असीम संभावनाएँ हैं। खनिज, वन संपदा, कृषि उत्पादन, पर्यटन के क्षेत्र में उद्यमिता की व्यापक संभावनाएँ विद्यमान हैं। युवा वर्ग को उद्यमिता के लिए प्रेरित करने नीतियों को अधिक व्यवहारिक और सहयोगी बनाने के उद्देश्य से उद्योग नीतियों में आवश्यक सुधार किया जा सकता है। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि प्रदेश में ज्ञानोदय विद्यालय तथा एकलव्य विद्यालय के माध्यम से अनुसूचित जाति-जनजाति के विद्यार्थियों को गुणवत्तायुक्त शिक्षा उपलब्ध कराई जा रही है। प्रदेश में वनोपज के न्यूनतम समर्थन मूल्य की व्यवस्था की गई है। देवारण्य योजना के माध्यम से जनजातीय बहुल क्षेत्रों में वहाँ के ईको सिस्टम के अनुसार परम्परागत औषधीय और सुगंधित पौधों को ऊगाने से लेकर उनकी प्रोसेसिंग, ब्रांडिंग, मार्केटिंग और विक्रय की सम्पूर्ण वैल्यू चेन विकसित की जा रही है।
युवाओं को उद्यमी के रूप में विकसित करना आवश्यक
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने प्रदेश के मनोहर श्याम की पेंटिंग और डिण्डौरी की रेखा पेंदराम द्वारा कोदो-कुटकी की ब्रांडिंग कर अपने उत्पाद को राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने के लिए की गई पहल की प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि युवाओं को सहायता ही पर्याप्त नहीं है। उन्हें आवश्यक मार्गदर्शन और प्रशिक्षण उपलब्ध कराकर उद्यमी के रूप में विकसित करना आवश्यक है। इसके लिए राज्य सरकार द्वारा हरसंभव प्रयास किए जा रहे हैं।
जनजातीय युवाओं को उत्पादों की प्रोसेसिंग से जोड़ा जाए
खाद्य, नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण मंत्री श्री बिसाहूलाल सिंह ने कहा कि खनिज सम्पदा के दोहन, वन सम्पदा के संग्रहण और कृषि उत्पादन में प्रदेश की जनजातियों का योगदान है। जनजातीय युवाओं को सहयोग, प्रशिक्षण और मार्गदर्शन उपलब्ध कराकर खनिज, वन और कृषि उत्पादों की प्रोसेसिंग से जोड़ना आवश्यक है।
प्रत्येक जिले में होगी उद्यमिता पर कार्यशाला
सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्री श्री ओमप्रकाश सखलेचा ने कहा कि प्रदेश के प्रत्येक जिले में उद्यमिता पर कार्यशाला आयोजित की जा रही है। हमारा उद्देश्य सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योग स्थापित करने के लिए युवाओं को जिला स्तर पर आवश्यक मार्गदर्शन उपलब्ध कराना है। कार्यक्रम को ट्रायफेड के प्रबंध संचालक श्री प्रवीर कृष्ण, डिक्की के संस्थापक डॉ. मिलिंद काम्बले और प्रदेश अध्यक्ष श्री अनिल सिरवैया ने भी संबोधित किया।