सेवा कार्यों से ही जीवन की सार्थकता – मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान
मुख्यमंत्री श्री चौहान से मिला सिख समाज प्रतिनिधि-मंडल
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान से आज मंत्रालय में सिख समाज के प्रतिनिधि-मंडल ने भेंट की। प्रतिनिधि-मंडल में नवीन एवं नवकरणीय ऊर्जा मंत्री श्री हरदीप सिंह डंग, लोक स्वास्थ्य एवं यांत्रिकी मंत्री श्री बृजेंद्र सिंह यादव, विधायक श्री जजपाल सिंह जज्जी भी उपस्थित थे। प्रतिनिधि-मंडल द्वारा मुख्यमंत्री श्री चौहान को आगामी 4 से 6 अक्टूबर के मध्य ग्वालियर में आयोजित गुरुद्वारा दाता बंदी छोड़ ग्वालियर के 400 वर्षीय विश्व-स्तरीय शताब्दी समारोह कार्यक्रम का आमंत्रण दिया गया। इस अवसर पर सिख समाज द्वारा संचालित सेवा कार्यों की जानकारी भी दी गई।
प्रतिनिधि-मंडल ने ग्वालियर के टेकनपुर में गुरुद्वारे की भूमि पर शिक्षण संस्थान प्रारंभ करने के संबंध में प्रस्ताव दिया। इसके अनुसार सिख समाज शिक्षण संस्थान की स्थापना में सहयोग देगा। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि सेवा कार्यों से ही जीवन सार्थक होता है। सिख समाज के सेवा कार्य सराहनीय है। शासन द्वारा इन प्रयासों को प्रोत्साहित किया जाएगा और पूर्ण सहयोग प्रदान किया जाएगा ।
इस अवसर पर श्री धर्म सिंह, बाबा लक्खा सिंह ग्वालियर, पंजाबी अकादमी की निदेशक नीरू सिंह ज्ञानी उपस्थित थी।
समारोह की पृष्ठभूमि
ग्वालियर के किले पर स्थित गुरुद्वारा दाता बंदी छोड़ से इतिहास के अनेक प्रसंग जुड़े हैं। छठी पातशाही गुरु हरगोविंद साहिब जी ने तत्कालीन बादशाह जहांगीर की कैद से 52 राजपूत राजाओं को स्वतंत्र करवाने का कार्य किया था। इस घटना के 400 वर्ष पूर्ण होने पर श्री अकाल तख्त साहिब अमृतसर के आदेश अनुसार बाबा सेवा सिंह ,कार सेवा खड़ूर साहिब जी गुरुद्वारा दाता बंदी छोड़ किला ग्वालियर ने समूह सिख संगत के सहयोग से विश्व स्तरीय समारोह की रुपरेखा बनाई है। इसमें विश्व के अन्य राष्ट्रों से भी गुरु नानक नाम लेवा संगत के अलावा सिख समाज के महापुरुष और अन्य समाज के संत जन भी उपस्थित होंगे। शताब्दी समारोह तीन दिवसीय होगा।
पंजाबी साहित्य अकादमी द्वारा समारोह की तैयारियाँ आरंभ
संस्कृति विभाग की पंजाबी साहित्य अकादमी की निदेशक नीरू सिंह ज्ञानी ने बताया कि अकादमी द्वारा समारोह की तैयारियाँ आरंभ कर दी गई हैं। श्री गुरु हरगोविंद साहिब जी के व्यक्तित्व और कृतित्व पर चित्र प्रदर्शनी का आयोजन किया जा रहा है। अकादमी द्वारा विशेष प्रकाशन भी किए जा रहे हैं।