एमपी में एक वर्ष में 1 लाख सरकारी पदों पर होगी भर्ती, अभी तक 60 हजार पदों पर नियुक्ति
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री,शिवराज सिंह चौहान ने कहा
एक वर्ष में 1 लाख सरकारी पदों पर होगी भर्ती, अभी तक 60 हजार पदों पर नियुक्ति : मुख्यमंत्री श्री चौहान
शासकीय सेवा का अर्थ है, जनता की सेवा और प्रदेश-देश का विकास
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने प्रदान किए श्रम, आबकारी और सहकारिता विभाग के अधिकारी-कर्मचारियों को नियुक्ति पत्र
मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि प्रदेश में एक वर्ष में 1 लाख सरकारी पदों पर भर्ती होगी, जिसमें से लगभग 60 हजार पदों पर नियुक्ति दी जा चुकी है। प्रदेश की जनता मेरा परिवार है और मैं सरकार को परिवार की तरह ही चलाने का प्रयास करता हूँ। गरीब और मजदूर हमारे लिए भगवान हैं। शासकीय सेवा में आपका चयन उनकी सेवा के लिए हुआ है। गरीब और मजदूर को सामाजिक सुरक्षा प्रदान करना, उन्हें काम का स्वस्थ और सुरक्षित वातावरण उपलब्ध कराना हमारा दायित्व है। मुख्यमंत्री श्री चौहान आबकारी, श्रम और सहकारिता विभाग के नियुक्ति पत्र वितरण कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने निवास कार्यालय पर कार्यक्रम का दीप प्रज्ज्वलित कर शुभारंभ किया। उन्होंने नवनियुक्त शासकीय सेवकों को नियुक्ति-पत्र वितरित किए और शुभकामनाएँ दीं।
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि पिछली 15 अगस्त पर मैंने एक साल में एक लाख पदों पर भर्ती की बात कही थी। यह भर्ती अभियान निरंतर जारी है। अब तक 60 हजार लोगों को नियुक्ति दी जा चुकी है। आज की नियुक्तियां भी इसमें शामिल हैं। हमारी प्रतिबद्धता रही है कि पारदर्शिता, ईमानदारी और मेरिट के आधार पर शासकीय सेवा में भर्तियां हों। आप सबका चयन मेरिट के आधार पर हुआ है, अत: आप सब बधाई के पात्र हैं। शासकीय सेवा में कार्यभार ग्रहण करने के बाद विभागीय योजनाओं और कार्यक्रमों का क्रियान्वयन आपके माध्यम से ही होगा। आप इस दायित्व का सफलतापूर्वक निर्वहन करें, यही आशीर्वाद और शुभकामनाएँ हैं। “मेरी अपेक्षा है कि आप इस भाव से अपने दायित्वों का निर्वहन करें कि हम केवल अपने लिए नहीं, अपितु प्रदेश की जनता और प्रदेश के लिए हैं। शासकीय सेवा का अर्थ है, जनता की सेवा और प्रदेश एवं देश का विकास। इसके लिए कर्तव्य और दायित्व का भाव सदैव मन में रहना चाहिए। आप पर ही प्रदेश की प्रगति और विकास निर्भर है। आप पर ही जन-कल्याणकारी योजनाओं और कार्यक्रमों का सफल क्रियान्वयन भी निर्भर है”।
महत्वूपर्ण हैं सहकारिता, श्रम और आबकारी विभाग के दायित्व
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि सहकारिता विभाग सामाजिक सरोकार से संबंधित महत्वपूर्ण विभाग है। विभाग ग्रामीण और दूरदराज के क्षेत्रों तक वित्तीय सेवाएँ उपलब्ध कराकर लोगों के और प्रदेश के विकास में योगदान दे रहा है। श्रम विभाग श्रमिकों को काम का स्वस्थ और सुरक्षित वातावरण उपलब्ध कराने की दृष्टि से महत्वपूर्ण है। विशेषकर असंगठित क्षेत्र में श्रमिकों का शोषण नहीं हो, इस दृष्टि से सतर्क रहना आवश्यक है। आबकारी विभाग की दोहरी जिम्मेदारी है। नशे पर नियंत्रण और अवैध शराब की बिक्री न हो, इसके लिए सदैव चौकन्ना रहना विभाग के कर्मचारियों के लिए आवश्यक है। इस विभाग के अधिकारी, कर्मचारी संकल्प लें कि अवैध गतिविधियों को संचालित नहीं होने देंगे और राज्य के राजस्व को सुरक्षित रखने के लिए हरसंभव प्रयास करेंगे। नई आबकारी नीति में अहाते बंद करने का निर्णय लेकर उसका सफल क्रियान्वयन किया गया है। नशे पर नियंत्रण के लिए लोगों की मानसिकता में सुधार और जन-जागरूकता का कार्य भी करना होगा।
प्रदेश प्रगति के पथ पर अग्रसर है
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि प्रदेश, विकास और प्रगति के पथ पर अग्रसर है। प्रति व्यक्ति आय जो वर्ष 2002-03 में 11 हजार रूपए हुआ करती थी, अब बढ़कर एक लाख 40 हजार रूपए हो गई है। जीएसडीपी 15 लाख करोड़ और प्रदेश का बजट 3 लाख 15 हजार करोड़ का है। सड़क, पानी, बिजली सहित संपूर्ण अधोसंरचना के क्षेत्र में बहुत सुधार हुआ है। साथ ही सामाजिक सरोकार रखने वाले विभागों में भी संवेदनशीलता के साथ गतिविधियाँ संचालित हैं।
कुल 741 को नियुक्ति पत्र वितरित
कार्यक्रम में कुल 741 अभ्यर्थियों को नियुक्ति-पत्र वितरित किए गए। आबकारी विभाग में 340 आबकारी आरक्षकों, सहकारिता विभाग में 347 क्लर्क और कंप्यूटर ऑपरेटर तथा श्रम विभाग में बीमा चिकित्सा पदाधिकारी, फार्मासिस्ट, सहायक ग्रेड 3 और सफाई सेवक के पदों पर कुल 54 अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र प्रदान किए गए।
प्रमुख सचिव सहकारिता श्री उमाकांत उमराव, प्रमुख सचिव वाणिज्यिक कर श्रीमती दीपाली रस्तोगी, आबकारी आयुक्त श्री ओ.पी. श्रीवास्तव, प्रबंध संचालक अपेक्स बैंक श्री पी.एस. तिवारी तथा चयनित अभ्यर्थी उपस्थित थे।