ऊर्जा संरक्षण के लिए मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की नागरिकों से अपील
बेहतर भविष्य के लिए ऊर्जा की बचत जरूरी
मुख्यमंत्री श्री चौहान स्वयं भी करते हैं बिजली बचाने का प्रयास
ऊर्जा संरक्षण के लिए प्रदेश में जारी है ऊर्जा साक्षरता अभियान
राष्ट्रीय ऊर्जा संरक्षण दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं!
श्रेष्ठ और समर्थ भविष्य के लिए ऊर्जा का संरक्षण परम आवश्यक है। हमारी आने वाली पीढ़ियों को बेहतर एवं स्वच्छ वातावरण प्राप्त हो, इसके लिए आज से ही प्रयास करना होगा। #NationalEnergyConservationDay pic.twitter.com/Otm5kzXxKn
— Shivraj Singh Chouhan (@ChouhanShivraj) December 14, 2021
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने प्रदेशवासियों से ऊर्जा की बचत के लिए हर संभव प्रयास करने की अपील की है। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने 14 दिसंबर – राष्ट्रीय ऊर्जा संरक्षण दिवस के मौके पर ट्वीट किया है – “ऊर्जा की बचत ही ऊर्जा का निर्माण है।” मुख्यमंत्री श्री चौहान ने प्रदेशवासियों से अनुरोध किया है कि दैनिक जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में ऊर्जा की अनावश्यक खपत रोकने, ऊर्जा स्रोतों का संरक्षण करने तथा लोगों को इसके महत्व के बारे में जागरूक करने का संकल्प लें और आने वाली पीढ़ी को बेहतर भविष्य की सौगात प्रदान करें।
बिजली बचाने के लिए प्रदेशवासियों को प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से 25 नवम्बर को ऊर्जा साक्षरता अभियान आरंभ किया गया है। अभियान में जन-जन के सहयोग से 10% बिजली बचाने का लक्ष्य है। मुख्यमंत्री श्री चौहान द्वारा व्यक्तिगत रूप से भी बिजली बचाने का निरंतर प्रयास किया जाता है। इस संबंध में 3 दिसंबर को दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में उन्होंने कहा था – “मैं अपने निवास में ट्यूबलाइट या बल्ब व्यर्थ जलता देखता हूँ तो स्वयं बंद करता हूँ।” मुख्यमंत्री श्री चौहान ने निवास कार्यालय के सभी अधिकारी-कर्मचारियों को बिजली बचत सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। निवास में पदस्थ समस्त अधिकारी-कर्मचारियों को अनावश्यक जल रही लाइटों को बंद करने, रूम हीटर या एसी का उपयोग आवश्यकतानुसार ही करने के निर्देश दिए हैं। इन निर्देशों का संवेदनशीलता के साथ पालन किया जा रहा है।
ऊर्जा साक्षरता अभियान में प्रदेश के सभी नागरिकों को समयबद्ध कार्य-योजना के अनुसार ऊर्जा साक्षर बनाने की दिशा में कार्य किया जा रहा है। अभियान में जन-सामान्य में ऊर्जा के व्यय और अपव्यय की समझ विकसित करने के लिए ऊर्जा के पारंपरिक और वैकल्पिक संसाधनों की जानकारी देने और उनके पर्यावरण पर प्रभाव के बारे में समझ पैदा करने के उद्देश्य से गतिविधियाँ संचालित की जा रही हैं।
अभियान में पर्यावरणीय जोखिम, जलवायु परिवर्तन और ग्लोबल वार्मिंग के नकारात्मक प्रभावों की जानकारी देने, उन्हें कम करने और इसके लिए विभिन्न ऊर्जा तकनीकों के चयन में जन-सामान्य को सक्षम बनाने के लिए भी गतिविधियाँ जारी हैं। स्कूलों और कॉलेजों के विद्यार्थियों तथा जन-साधारण को जानकारी देने के लिए प्रदेश में ऊर्जा साक्षरता अभियान एक मिशन के रूप में संचालित किया जा रहा है।