थोक मुद्रास्फीति जनवरी में बढ़कर 3.1 प्रतिशत हुई

थोक मुद्रास्फीति जनवरी में बढ़कर 3.1 प्रतिशत हुई
नई दिल्ली। खुदरा बाजार के साथ ही थोक बाजार में भी जनवरी में फलों, सब्जियों, दालों और खाने-पीने की दूसरी चीजों की महंगाई दर दहाई अंक में रही जिससे ओवरऑल थोक महंगाई दर लगातार तीसरे महीने बढ़ती हुई 3.10 प्रतिशत पर पहुँच गयी। यह नौ महीने में थोक महंगाई का उच्चतम स्तर है। इससे पहले पिछले साल अप्रैल में थोक महंगाई दर 3.24 प्रतिशत रही थी।

पिछले साल दिसंबर में यह आंकड़े 2.59 प्रतिशत और पिछले साल जनवरी में 2.76 प्रतिशत रहा था। चालू वित्त वर्ष में अप्रैल 2019 से जनवरी 2020 तक की अवधि में थोक महंगाई दर 2.50 प्रतिशत रही है जबकि पिछले वित्त वर्ष की इसी अवधि में यह 2.49 फीसदी रही थी। इससे पहले 12 फरवरी को जारी आंकड़े के अनुसार, जनवरी में खुदरा महंगाई की दर बढ़कर 68 महीने के उच्चतम स्तर 7.59 प्रतिशत पर पहुँच गयी जबकि खाद्य पदार्थों की खुदरा महंगाई दर 13.63 प्रतिशत रही।

वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय द्वारा आज जारी आंकड़े के अनुसार, दिसंबर में खाद्य पदार्थों की थोक महंगाई दर 11.51 प्रतिशत पर रही। जनवरी 2019 के मुकाबले प्याज की कीमत इस साल जनवरी में 293.37 प्रतिशत बढ़ी। आलू की महँगाई दर भी 87.84 प्रतिशत रही। सब्जियों की औसत महंगाई दर 52.72 प्रतिशत दर्ज की गयी।

गाजर के दाम 85 प्रतिशत, सहजन के 75 प्रतिशत, फूल गोभी के 59 प्रतिशत और बंदगोभी के 43 प्रतिशत बढ़ा। आंकड़े के अनुसार, फलों में पपीता एक साल पहले की तुलना में जनवरी में 41 फीसदी, अनानास 40 फीसदी और संतरा 39 फीसदी महंगा हुआ। अंडों तथा मांस-मछलियों के दाम 6.73 प्रतिशत बढ़ी। मसालों की महंगाई दर 21.53 फीसदी रही। विनिर्मित अखाद्य पदार्थों की महंगाई दर 7.05 प्रतिशत रही।

इस श्रेणी में कच्चे सिल्क की कीमत जनवरी 2019 के मुकाबले 12 प्रतिशत बढ़। तैलीय उत्पादों में मूंगफली की महंगाई दर 12.28 प्रतिशत और सरसों की 5.81 प्रतिशत रही। ईंधन एवं बिजली श्रेणी में पेट्रोल की महंगाई दर आठ प्रतिशत और डीजल की तकरीबन पांच प्रतिशत रही।

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