ग्रामीणों और केन्द्रीय टिड्डी नियंत्रण दल के अधिकारियों से सतत् सम्पर्क करें
भोपाल ।
कृषि विभाग के सभी जिला एवं अनुभाग स्तरीय अधिकारियों को निर्देश दिये गये हैं कि टिड्डी दलों के रात्रि ठहराव के स्थान सुनिश्चित होने पर तत्काल आवश्यक संसाधनों की व्यवस्था करें। स्थानीय प्रशासन एवं केन्द्रीय टिड्डी नियंत्रण दल के समन्वय से जहाँ तक संभव हो, प्रात: 3 बजे से कीटनाशकों के छिड़काव की कार्यवाही की जाये।
संचालक, किसान कल्याण तथा कृषि विकास ने मैदानी अधिकारियों से कहा है कि टिड्डी दल की निगरानी के लिये ग्रामवासियों और किसानों से भी सतत् सम्पर्क बनाया जाये, जिससे टिड्डी दल पर समय रहते नष्ट करने की कार्यवाही की जा सके। उन्होंने बताया कि 26 मई को रीवा संभाग के सीधी जिले के सिंहावल विकासखंड के ग्राम चमरौहा एवं सतना जिले नागौद विकासखंड के ग्राम रोड में टिड्डी दल के नियंत्रण के लिए लगभग 100 लीटर लेम्डासायहेलेथ्रिन 4.9 प्रतिशत एवं क्लोरोपायरीफास 20 ई.सी. 25 लीटर कीटनाशकों का छिड़काव किया गया, जिसके परिणामस्वरूप लगभग 40 प्रतिशत टिड्डी दल को नष्ट करने में सफलता प्राप्त हुई।
भोपाल संभाग के राजगढ़ जिले के विकासखंड जीरापुर के ग्राम सेमलीहार में टिड्डी दल के रात्रि ठहराव स्थल पर 3 ट्रेक्टरचलित स्प्रेपंप एवं 1 फायर ब्रिगेड द्वारा कीटनाशकों का छिड़काव किया गया।
नर्मदापुरम संभाग के बैतूल जिले के भैंसदेही विकासखंड के ग्राम गोरापुरा में रात्रि में 4 फायर ब्रिगेड के द्वारा कीटनाशकों का छिड़काव कर टिड्डी दल के नियंत्रण की कार्यवाही की गई।
उज्जैन संभाग के देवास जिले के कन्नौद विकासखंड के ग्राम नामानपुर एवं आगर मालवा जिले के नलखेड़ा विकासखंड के ग्राम धरौला में रात्रि में कीटनाशकों का छिड़काव कर टिड्डी दल के नियंत्रण के लिए प्रभावी कार्यवाही की गई।
ग्वालियर के विकासखंड भितरवार के ग्राम घरसोणदी एवं कैथी में 4 फायर ब्रिगेड के द्वारा टिड्डी दल के रात्रि ठहराव स्थल पर कीटनाशकों का छिड़काव कर लगभग 30 प्रतिशत टिड्डी दल को नष्ट किया गया।
जयपुर एवं गंगानगर वाले टिड्डी दल आगरा की ओर से मध्यप्रदेश की सीमा में प्रवेश कर सकते हैं, अत: ग्वालियर, दतिया एवं भिंड जिले अगले 2-3 दिन निगरानी रखें। सीधी जिले वाला टिड्डी दल सिंगरौली जिले में प्रवेश कर गया है। सतना जिले वाला टिड्डी दल रीवा की ओर अग्रसर है।
सभी क्षेत्रीय कृषि अधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि टिड्डी दलों की सतत निगरानी कर सूचनाओं का आदान-प्रदान करते रहें।